Skip to main content

Posts

Showing posts from July, 2025

घुंघट के पट

घुंघट के पट जब साजन खोलते हैं, ये घुंघट नहीं दिल की दरवाजा है, सैंया सखी घर से आंगन है मेरे, ये दिल में बसी दिल की दरवाजा है।

जय शिव

चूड़ी हरिहर पहीन जाईब, बाबा धाम नगरी, जाके जलवा चढ़ाईब , बाबा धाम नगरी, हर हर बम बम - हर हर बम बम बाबा धाम नगरी , चूड़ी हरिहर पहीन जाईब, बाबा धाम नगरी, जाके जलवा चढ़ाईब , बाबा धाम नगरी। गौरी गणेश जी के मंदिर लगही बांटे  शिव जी के महिमा  बाबा धाम नगरी, चूड़ी हरिहर पहीन जाईब --1           प्रेम प्रकाश पाण्डेय